संबोधन में कहा कि...
पशुओं की उत्पादकता में सुधार के लिए विभागीय नई तकनीकों और बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ उठाएं पशुपालक
लाहौल स्पीति,
जनजातीय जिला लाहौल स्पीति के गोंदला पंचायत में विश्व पशु दिवस के अवसर पर एक भव्य कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में क्षेत्र के किसानों, पशुपालकों और पशु चिकित्सा अधिकारियों की बड़ी भागीदारी रही। कार्यक्रम की अध्यक्षता डॉ. अमिताभ उप-निदेशक, पशुपालन विभाग, केलांग, डॉ. भूपेंदर सिंह प्रोजेक्ट निदेशक, आत्मा , डॉ. सुधर्शन पशु चिकित्सा अधिकारी, गोंधला और अनिल कुमार उप-प्रधान गोंधला ने की।
कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य पशुओं की देखभाल, उनके स्वास्थ्य और कल्याण के प्रति जागरूकता बढ़ाना था।
डॉ. अमिताभ ने अपने संबोधन में पशुपालन के महत्व और क्षेत्रीय अर्थव्यवस्था में पशुधन के योगदान पर प्रकाश डालते हुए उन्होंने कहा कि पशु पालन से जुड़े किसानों को नई तकनीकों और बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ उठाना चाहिए ताकि पशुओं की उत्पादकता में सुधार हो सके।
इस मौके पर डॉ. भूपेंदर सिंह ने आत्मा प्रोजेक्ट के अंतर्गत किसानों के लिए चलाई जा रही योजनाओं और कार्यक्रमों की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि किसानों को उनकी जरूरतों के अनुसार प्रशिक्षण और सहायता प्रदान की जाएगी ताकि वे अपने पशुधन से अधिकतम लाभ प्राप्त कर सकें।
डॉ. सुदर्शन ने स्थानीय किसानों से संवाद किया और उनके पशुओं से संबंधित सवालों के जवाब दिए। उन्होंने पशुओं की नियमित जांच और टीकाकरण के महत्व को रेखांकित किया।
इस कार्यक्रम में डॉ. मनीषा वर्मा, पशु चिकित्सा अधिकारी सिस्सू, को विशेष अतिथि के रूप में आमंत्रित किया गया। अपने संबोधन में डॉ. मनीषा वर्मा ने पशुपालन में महिलाओं की भूमिका और उनके योगदान की विस्तार पूर्वक जानकारी दी । उन्होंने कहा कि पशुधन के प्रबंधन में महिलाओं की सक्रिय भागीदारी से न केवल पशुओं का स्वास्थ्य बेहतर होता है, बल्कि परिवारों की आर्थिक स्थिति भी सुदृढ़ होती है। उन्होंने क्षेत्र के पशुपालकों को आधुनिक पशु चिकित्सा सेवाओं का लाभ उठाने और सरकार द्वारा दी जा रही योजनाओं से अधिक से अधिक लाभान्वित होने की सलाह दी।
अनिल कुमार, उप-प्रधान गोंधला, ने भी अपने विचार साझा किए और किसानों को इस प्रकार के आयोजनों में अधिक से अधिक भाग लेने के लिए प्रोत्साहित किया। उन्होंने कहा कि पशुधन की समृद्धि से ही क्षेत्र की आर्थिक स्थिति मजबूत होगी।
इस अवसर पर बड़ी संख्या में स्थानीय किसान और पशुपालक मौजूद रहे, जिन्होंने इस आयोजन का लाभ उठाया और पशु कल्याण से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियाँ प्राप्त कीं। कार्यक्रम का समापन किसानों के लिए प्रश्नोत्तर सत्र और पशु चिकित्सा शिविर के साथ हुआ, जहाँ पशुओं की जांच और नि:शुल्क उपचार की व्यवस्था की गई थी।
विश्व पशु दिवस का यह आयोजन किसानों और पशुपालकों के लिए अत्यंत उपयोगी साबित हुआ, जहाँ उन्होंने अपने पशुओं के कल्याण और स्वास्थ्य के प्रति महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त की।